पटना
5 जून को ‘संपूर्ण क्रांति’ दिवस पर बिहार की राजधानी पटना की सड़कें एक बार फिर छात्र आंदोलन की गवाह बनी। बिहार के छात्रों का डोमिसाइल आंदोलन चरम पर है। डोमिसाइल के मुद्दे पर एक बार फिर से बिहार में गुस्सा फूट पड़ा है। डोमिसाइल आदोलन को लेकर बिहार स्टूडेंट यूनियन के बैनर तले राजधानी पटना के सड़कों पर छात्र उतरे। छात्रों ने इस दौरान हाथों में पोस्टर-बैनर लिए हुए दिखे, साथ ही जमकर नारेबाजी भी की। आंदोलनकारियों के बैनर पर लिखा था “वोट दे बिहारी और नौकरी ले बाहरी, अब यह नहीं चेलगा।” आंदोलनकारी सीएम आवास की ओर बढ़ रहे थे, लेकिन पुलिस ने जेपी गोलंबर के पास उन्हें रोक दिया। इस दौरान सभी आंदोलनकारियों ने सरकार के खिलाफ खूब नारे लगाए। आंदोलनकारियों का कहना है कि बिहार की सरकारी नौकरियों पर पहला हक हम बिहारियों का है। छात्र नेता राज्य में डोमिसाइल यानि मूल निवासी प्रमाण पत्र की मांग कर रहे हैं ताकि राज्य की सरकारी नौकरियों और शिक्षण संस्थानों में आरक्षण लागू किया जा सके।