दिल्ली
भारती की राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने संविधान के अनुच्छेद 80(1) के खंड (3) के साथ पठित, प्रदत्त शक्तियों के अंतर्गत चार लोगों को राज्यसभा के लिए मनोनीत किया है। इनमें मशहूर वकील उज्जवल निकम, पूर्व विदेश सचिव हर्षवर्धन श्रृंगला, इतिहासकार मीनाक्षी जैन और सामाजिक कार्यकर्ता सदानंदन मास्टर शामिल हैं। ये सभी अपने-अपने क्षेत्रों में उल्लेखनीय योगदान के लिए जाने जाते हैं। राष्ट्रपति द्वारा राज्यसभा में ऐसे लोगों को मनोनीत किया जाता है, जिन्होंने साहित्य, विज्ञान, कला या सामाजिक सेवा में विशेष योगदान दिया हो। नामित सदस्यों में उज्ज्वल देवराव निकम भी शामिल हैं, जो एक प्रसिद्ध विशेष सरकारी वकील हैं और कई हाई-प्रोफाइल आपराधिक मामलों में अपनी भूमिका के लिए जाने जाते हैं। 1991 में उन्होंने कल्याण बम धमाके के आरोपी रविंदर सिंह को सजा दिलाई। आंतकी हमला 26/11 हमले में पकड़े गए पाकिस्तानी आतंकवादी अजमल कसाब के मुकदमे में भी उन्होंने सरकारी वकील के रूप में बहस की और कसाब को फांसी की सजा दिलवाई थी। ये नामांकन पूर्व में नामित सदस्यों की सेवानिवृत्ति के कारण उत्पन्न हुई रिक्त पदों के मद्देनजर किए गए हैं।